टिहरी,उत्तराखंड के पहाड़ों पर भी गेहूं की फसल पक गई है, लेकिन लगातार बदलते मौसम ने किसानों के लिए मुसीबत खड़ी कर रखी है। मौसम विभाग की चेतावनी है कि आने वाली 27-28 तारीख को भी मौसम का मिजाज उत्तराखंड के पहाड़ों पर बदल सकता है, जिससे यहां पर गेहूं की पकी हुई फसलें असर पड़ सकता है। उत्तराखण्ड में लगातार बदल रहे मौसम को देखते हुए डीएम टिहरी सोनिया ने ग्रामीण क्षेत्रों में गेहूं की खडी फसल खराब होने से बचाने के लिए गेहूं की कटाई शुरु करवाई ताकी पता लगाया जा सके कि कितनी फसल की पैदावार हुई है।
जिलाधिकारी टिहरी सोनिया ने दुरस्त गांव, डडुर पहुंच कर गांव वालों के साथ मिलकर गेहूं की फसल काटी। ग्रामीण जिलाधिकारी को अपने बीच फसल काटते हुए देख कर खुश नजर आए।
जिलाधिकारी टिहरी ने बताया कि, “उन्होंने गेंहू की कटाई इस लिये करवाई की मानसून पल-पल बदल रहा है और फसल खराब होने की संभावना बनी हुई है।” जिसके चलते फसल कटने के बाद वह देखना चाह रही है कि आने वाले समय में सूखे की स्थिति बनती है या नही, वही इस बार हुई फसल का आंकलन भी फसल कटाई पूरी होने के बाद चल सकेगा।
गौरतलब है कि जिलाधिकारी सोनिका ने विकास खण्ड चम्बा के डडूर गांव में काश्तकारों की समस्याओं को सुनने पहुंची थी, जिलाधिकारी ने ग्रामीणों की समस्या को गंभीरता से सुनते हुए अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। इस दौरान खेतों में गेहूं की फसल को देखते हुए कटाई कर रही महिलाओं के साथ मिलकर जिलाधिकारी सोनिका ने ग्रामीण महिलाओं के साथ गेहूं की फसल को काटने लगी, जिससे महिलाओं में भी एक नया जोश आ गया और अपने बीच डीएम टिहरी को गेहूं की कटाई में हाथ बटाते हुए देख महिलाओं में खुशी छा गई।
अगर सरकार के अफसर भी जनता के बीच पहुंचकर उनको थोड़ा सा समय देदे तो पहाड़ धीरे-धीरे विकास की ओर बढ़ सकते हैं। जनप्रतिनिधि प्रशासनिक अधिकारी अगर जनता के द्वार पहुंचकर इस तरह का काम करें तो जनता भी उनको पूरा सहयोग करती है टिहरी डीएम, सोनिया, ने एक नई मिसाल कायम की है जिससे पहाड़ों पर संवादहीनता की दूरियां समाप्त हो पाएंगी।