अब बदरीनाथ धाम की यात्रा निर्बाध हो सकेगी। बदरीनाथ राष्ट्रीय राजमार्ग पर लामबगड़ में ढाई दशक से बने नासूर का स्थाई इलाज हो गया है। लामबगड़ में लैंड स्लाइडिंग की वजह से रास्ता बंद होने की आम दिक्कत अब खत्म हो जाएगी।
तमाम देसी-विदेशी कंपनियां जो काम नहीं कर पाईं उसे पांडुकेश्वर निवासी किशोर पंवार ने करके दिखा दिया है। सब कान्ट्रैक्टर के रूप में पंवार ने दिसम्बर 2018 से कार्य शुरू किया था। उन्होंने अलकनंदा नदी के किनारे दो वर्ष के अंतराल में नए एलाइनमेंट की 500 मीटर सड़क तैयार कर दी है।
नदी की ओर से 40 मीटर जालीदार दीवारों के साथ ऊपर दस मीटर ऊंचाई और पांच मीटर चौड़ाई मे राॅक फॅाल (बैरियर) दीवारों का निर्माण किया गया है। ताकि पहाड़ी की ओर से मलबा और बोल्डर सीधे सड़क पर न गिर सके और यात्रा सुरक्षित हो। इस समय यहां डामरीकरण का कार्य जोरों पर है।