कुंभनगरी देवप्रयाग में साधु-संतों ने किया पहला शाही स्नान

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महाकुंभ
कुंभनगरी देवप्रयाग में मकर संक्रांति पर्व पर सर्वज्ञ पीठ के शंकराचार्य सहित जूना, निरंजनी, महानिर्वाणी अखाड़ा सहित षडदर्शन साधु समाज, अखिल भारतीय सनातन धर्म रक्षा समिति के आहवान पर साधु-संतों ने संगम पर छड़ी पूजन कर कुंभ का पहला शाही स्नान किया। इससे पहले साधु संतों ने तीर्थनगरी में पर्वतीय वाद्य यंत्रों के साथ पेशवाई भी निकाली। साधु-संतों ने अब प्रत्येक कुंभ में स्नान की शुरुआत गंगा तीर्थ देवप्रयाग से किए जाने की भी घोषणा की।
कुंभ के पहले शाही स्नान के लिए विभिन्न राज्यों से पहुंचे साधु-संत
साधु संतों ने की देवप्रयाग में प्रत्येक कुंभ के पहले स्नान करने की घोषणा 
मकर संक्रांति के मौके पर गंगा स्नान के लिए सुबह ऋषिकेश से साधु संतों के कुंभनगरी देवप्रयाग पहुंचते ही तीर्थपुरोहितों व क्षेत्रवासियों ने पुष्पवर्षा कर ढोल-नगाड़ों से उनका जोरदार स्वागत किया गया। जिसके बाद शारदा सर्वज्ञपीठ पीठाधीश्वर जम्मू कश्मीर के शंकराचार्य जगद्गुरु अनंतानंद सरस्वती, साध्वी जगदगुरु त्रिकाल भवन्तिका, षडदर्शन समाज के अखिल भारतीय अध्यक्ष महंत गोपाल गिरी, भगवान गिरी आश्रम के महंत भूपेंद्र गिरी, नागा बाबा भोला गिरी आदि संतों की अगुवाई में पेशवाई निकाली गई। अलकनंदा-भागीरथी संगम स्थल पर पहुंचते ही साधु संतों ने मां गंगा व छड़ी का पूजन किया। जिसके बाद हर-हर गंगे, हर-हर महादेव के जयघोष के साथ संत महात्मों ने संगम पर महाकुंभ के शाही स्नान की पहली डुबकी लगाई।
दरअसल, साधु समाज के दबाव में प्रशासन ने देवप्रयाग में कुंभ स्नान की रद्द की गयी अनुमति वापस लेने के बाद यहां कुंभ का स्नान हुआ। देवप्रयाग तीर्थ में गंगा का प्रथम दर्शन व स्नान होने से 2015 में इसको कुंभ क्षेत्र में शामिल किया गया था।
पहले स्नान के मौके पर शारदा पीठाधीश्वर जगद्गुरु शंकराचार्य अनंतानंद सरस्वती ने कहा कि देवप्रयाग से ही गंगा की शुरुआत होने से इसे गंगा द्वार भी कहा गया है। पुराणों में देवप्रयाग में मकर संक्रांति पर गंगा स्नान की बहुत महत्ता बताई गयी है। इलाहाबाद की जगत गुरु साध्वी त्रिकाल भवन्तिका सरस्वती ने कहा कि देवभूमि उत्तराखण्ड स्थित देवप्रयाग संगम को स्कंद पुराण में देवताओं व मनुष्यों के स्नान के लिए तीर्थराज प्रयाग से सहस्त्र गुणा अधिक फलदायी बताया गया है।
स्थानीय संगठनों ने साधु संतों का किया स्वागत
महाकुंभ स्नान के लिए तीर्थ नगरी पहुंचे साधु संतों का श्रीबदरीश पंडा पंचायत, चार धाम हकहकूकधारी परिषद, व्यापार सभा आदि संस्थाओं ने जोरदार स्वागत किया। नगरपालिका अध्यक्ष कृष्णकांत कोटियाल की अगुवाई में तीर्थ परोहितों व क्षेत्रवासियों ने साधु संतों का स्वागत कर आशीर्वाद लिया। संतों ने पालिका अध्यक्ष कोटियाल की ओर से किये गए सहयोग की विशेष सराहना की। इसके साथ ही भगवान श्री रघुनाथ के मंदिर में साधु संतों ने विश्व कल्याण के लिए आराधना भी की।
इस अवसर पर  गौरी शंकर मंदिर के नागा बाबा भोलागिरी, महंत इंद्र गिरी, महेंद्र थानापति, रवि गिरी हरिद्वार, महंत कपिल मुनि कबीरचौरा आश्रम, राजेश गिरी, भोलागिरी गौरी शंकर मंदिर सहित  बड़ी संख्या में उनके शिष्य समुदाय ने स्नान किया।