गोपेश्वर, अंतरराष्ट्रीय पर्यटन स्थली और स्कीइंग की एशिया में बेहतरीन ढलान औली को भले ही विश्व मानचित्र पर लाने की कवायद की जा रही है, मगर औली से गौरसों तक के तीन किमी के ट्रेक रूट पर कहीं भी शौचालय नहीं बनाया गया है। पर्यटक शौचालय न होने से खुले में जाने को मजबूर हैं । इस पूरे मार्ग पर कहीं भी डस्टबीन भी नहीं है जिससे कूड़ा जहां-तहां फैला हुआ है।
औली-गौरसों ट्रेक रूट पर हर वर्ष देश-विदेश के पर्यटक आते हैं, शीतकाल और ग्रीष्मकाल में भी पर्यटकों का तांता लगा रहता है। मगर इस रूट पर कहीं भी पीने तक का पानी नहीं है। अगर पर्यटक अपने साथ पानी की बोतल न लाये तो प्यासा रहना पड़ सकता है।
व्यू प्वाइंट ग्लास हाउस बने है पियकड़ों के एशगाह
औली में प्रकृति के खूबसूरत व्यू-प्वाइंट ग्लास हाउस बने हैं मगर इनके अंदर असामाजिक तत्वों और शराबियों का उपद्रव मचा रहता है। जहां तहां शराब की बोतल और कबाड़ पड़ा दिखता है। स्कीइंग स्लोप के दोनों छोर पर बने व्यू-प्वाइंट की दुर्दशा होती जा रही है। दूसरी ओर नगर पालिका के अधिशासी अधिकारी शांति प्रसाद नौटियाल ने बताया कि, “औली गौरसों के बीच शौचालय बनाने के लिए टेंडर जारी कर दिए गये है। शीघ्र ही शौचालय निर्माण की प्रक्रिया शुरू कर दी जायेगी।”
हिमवीरों ने चलाया सफाई अभियान
औली-गौरसों ट्रेक पर बिखरे कूड़ा करकट को वर्ल्ड स्नो डे पर आईटीबीपी के हिमवीरों ने सफाई अभियान चलाकर साफ किया। इससे पहले जोशीमठ के साहसिक पर्यटन से जुड़े व्यवसायियों ने गोरसों ट्रेक से तीन कुंतल कूड़ा उठाकर जोशीमठ नगर पालिका को सौंपा था।