एकांतवास के दौरान दंपति ने बदल दी स्कूल की तस्वीर

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एकांतवास
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(पौड़ी) एकांतवास केन्द्रों पर अव्यवस्थाओं की शिकायतें आएदिन मिल रही हैं। यहां रहने वाले इसे जेल की यातना समझकर प्रशासन को जम कर कोस रहे हैं। लेकिन इन सबके बीच एक परिवार ऐसा भी है, जिसने एकांतवास स्थल स्कूल की तस्वीर ही बदल दी। दंपति के कार्य में उसके छोटे बच्चों ने भी पूरा सहयोग किया है। स्कूल की बदली तस्वीर के संबंध में सोशल मीडिया में वायरल पोस्ट में लोग दंपति के इस कार्य को खूब सराहना कर रहे हैं।
विकासखंड खिर्सू के असंगी गांव का स्कूल बना है एकांतवास केन्द्र
पांच साल के बेटे के प्रयासों से फिर लहरा उठी स्कूल की बगिया
विकासखंड पौड़ी के अंसगी गांव निवासी सरोज सिंह अपनी पत्नी व दो बच्चों सहित दिल्ली से लौट कर गांव के प्राथमिक विद्यालय में एकांतवास में रुके थे। जब सरोज विद्यालय पहुंचे थे तब विद्यालय परिसर में चारों ओर झाड़ियां उगी थीं। बिना पानी के विद्यालय की फुलवारी भी सूख रही है। ऐसे में सरोज नेगी और उनकी पत्नी कामिनी नेगी ने एकांतवास अवधि का सदुपयोग करते हुए विद्यालय की तस्वीर बदल डाली। दंपति ने विद्यालय के चारों ओर की झाड़ियां काट डाली, प्रांगण में उगी घास को साफ करके पूरे विद्यालय परिसर की साफ सफाई कर दी। सरोज नेगी के पांच वर्षीय बेटे ने विद्यालय की फुलवारी को सुबह शाम पानी से सींच कर फूलों के पौधों को सूखने से बचाया।
राजकीय प्राथमिक विद्यालय असंगी की अध्यापिका आरती रावत पुंडीर जब अपने विद्यालय में पहुंची तो विद्यालय की तस्वीर को देखकर हतप्रभ हो गयी। उन्होंने सरोज नेगी और उनकी पत्नी कामिनी नेगी की सराहना करते हुए कहा कि दोनों ने अन्य लोगों के लिए एक उदाहरण प्रस्तुत किया है। किस तरह से समय का सदुपयोग किया जा सकता है। साथ ही उन्होंने लोगो से अपील भी की है कि ग्राम पंचायताों में जो एकांतवास में हैं, वे प्रशासन का सहयोग करें और शारीरिक दूरी का पालन करे।