मंत्री धन सिंह रावत ने की सहकारिता विभाग की समीक्षा

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देहरादून। उच्च शिक्षा एवं सहकारिता मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) डाॅ. धन सिंह रावत ने राजपुर रोड़ स्थित उत्तराखण्ड सहकारिता प्रबन्धन संस्थान में सहकारिता विभाग की समीक्षा बैठक की। बैठक में पं. दीनदयाल उपाध्याय सहकारिता किसान कल्याण योजना के तहत लाभार्थियों की सफलता, अल्पकालीन व मध्यकालीन ऋण वितरण की प्रगति, पतंजलि सहकारी आरोग्य केन्द्र संचालन समितियों की सम्पत्तियों, जनपदों में सहकारी समितियों में शिक्षा निधि की स्थिति आदि बिन्दुओं पर सदन में विस्तृत चर्चा की।
सहकारिता मंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने पूर्व में प्रदेश के किसानों को दो फीसदी ब्याज पर एक लाख रूपये तक कृषि ऋण का प्रावधान किया था। उसमें और सुधार करते हुए प्रदेश के किसानों को बिना ब्याज के एक लाख रूपये का व्यक्तिगत ऋण तथा कृषि कार्य करने वाले महिला समूहों को पांच लाख तक का ऋण शून्य ब्याज पर दिया जाएगा।
उन्होंने सभी अधिकारियों को प्रदेश में स्थानीय व्यवसाय (परम्परागत व्यवसाय) में लगे विभिन्न लोगों को फोकस करते हुए सहकारिता के सहयोग से चलाई जा रही विभिन्न योजनाओं का लाभ देने के निर्देश दिए। उन्होंने यह भी कहा कि सहकारिता विभाग और पतंजलि योग संस्थान लोगों के कल्याण के लिए सहकारी विक्रय केन्द्रों पर संयुक्त उद्यम के तौर पर कार्य करेंगे, जिसमें पतंजलि के उत्पादों का विक्रय केन्द्रों पर किया जाएगा। उन्होंने कहा कि अभी बहुद्देशीय समितियों द्वारा 100 केन्द्रों पर सहकारी स्टोर खोले जा रहे हैं। जिसमें सहकारी समितियों के सदस्यों को पतंजलि उत्पादों के क्रय में 5 से 7 फीसदी की दर मिलेगी और विक्रय का 10 फीसदी लाभ सहकारी समितियों को दिया जाएगा।
मंत्री ने ऐसे प्राथमिक सहकारी समिति, जिला सहकारी बैंक और राज्य सहकारी बैंक जो वर्तमान में घाटे में चल रहे हैं उनको उबारने के लिए किए जा सकने वाले नीतिगत और अन्य समाधानों को अमल में लाने के लिए समिति के गठन के भी निर्देश दिए।
इस दौरान मंत्री ने सहकारी विभाग की डायरी का भी विमोचन किया। मंत्री ने महाप्रबन्धक उत्तराखण्ड राज्य सहकारी बैंक लि. और जिला सहकारी बैंक लि. अध्यक्ष को निर्देश दिए कि सहकारिता से लोगों का अधिकाधिक कल्याण करने के लिए सभी योजनाओं में प्रगति करें।