अब गढ्ढों की वजह से होने वाली दुर्घटनाओं के लिए अफसर होंगे जिम्मेदार

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सड़क पर गड्ढे हादसों का सबब बनते आ रहे है। किसी की जान जाने का अधिकारियों को कोई फर्क नहीं पड़ता है। लेकिन पुलिस ने दुर्घटनाओं की रोकथाम के लिए कमर कसते हुए इसके लिए एनएचएआइ को जिम्मेदार ठहरा कागजी कार्रवाई शुरू कर दी है। सीओ ने एनएचएआइ को पत्र लिख कर हादसों का सबब बन रही सड़कों की दशा सुधारने के लिए कहा है।

सड़क की दुर्दशा पर नजर डाले तो बिलासपुर से लेकर पंतनगर तक हालत खराब है। खराब सड़कों के चलते आए दिन हादसों में लोग अनायस ही काल का ग्रास बन रहे है। सड़क पर गड्ढों से बचने के लिए लोग वाहन का स्टेयरिंग मोड़ देते है, जिसके चलते आए दिन लोग दुर्घटनाओं का शिकार हो रहे है। लेकिन सड़कों की दशा में कोई सुधार हादसों के बाद भी नहीं दिखाई दे रहा है। लगातार बढ़ रहे हादसों के बाद पुलिस ने कड़ा रुख अपनाते हुए एनएचएआइ को पत्र लिख एनएच 74 पर रामपुर रोड से पंतनगर तक खस्ताहाल सड़क से हो रही परेशानी को दूर करने के लिए कहा है। सड़क की दशा सहीं न होने की दशा में दुर्घटनाओं की जिम्मेदारी एनएचएआइ की होगी। साथ ही दशा न सुधारने पर कार्रवाई की भी चेतावनी दे दी है।

किच्छा मार्ग पर इंदिरा चौक से लेकर भूतबंगला तक सिंगल सड़क की काम कर रही है, जिससे वहां पर दुर्घटना का अंदेशा बना रहता है। कार्यदायी संस्था द्वारा सड़क को यहां पर अधूरा छोड़ा गया है। सीओ ने उसे भी बनवा मार्ग पर आवाजाही खोलने को कहा है।

स्वतंत्र कुमार, सीओ सिटी ने बताया कि एनएचएआइ के पीडी को पत्र लिख कर दुर्घटना का कारण बन रही सड़कों की दशा सुधारने को कहा है। इस पर एनएचएआइ के जवाब के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।

कर्नल संदीप कार्की, पीडी एनएचएआइका कहना है कि, “भूमि अधिग्रहण की प्रक्रिया पूरी न हो पाने के कारण प्रोजक्ट में काफी देर हो रही है। रामपुर-काठगोदाम मार्ग पर कार्यदायी संस्था कार्य को तैयार है। भूमि उपलब्ध होने के बाद काम की गति दिखाई देगी। साथ ही तीन करोड़ का प्रपोजल एनएचएआइ हेडक्वार्टर गया है। कुछ ही दिनों में प्रपोजल की मंजूरी मिलने की संभावना है। दो माह के अंदर रुद्रपुर से लेकर लालकुआं तक गड्ढे सड़क पर दिखाई नहीं देंगे।”