केंद्र सरकार की डिजिटल इंडिया मुहिम को आगे बढ़ाते हुए राज्य का औषधि विभाग भी अब ऑनलाइन होने जा रहा है। आॅनलाइन सुविधा शुरू होने के बाद नए लाइसेंस और नवीनीकरण के लिए चक्कर नहीं काटने पड़ेंगे। यह सब एक क्लिक पर मुमकिन होगा।खाद्य सुरक्षा विभाग में लाइसेंस व पंजीकरण की व्यवस्था काफी पहले ऑनलाइन की जा चुकी है लेकिन ड्रग लाइसेंस के लिए आवेदन और नवीनीकरण की व्यवस्था पुराने ढर्रे से ही चल रही है। अब विभाग ने इसे ऑनलाइन करने की तैयारी कर ली है। जिसके तहत ड्रग लाइसेंस के इच्छुक लोग इसके लिए ऑनलाइन आवेदन कर सकेंगे। अब तक लोगों को लाइसेंस के लिए कार्यालय के चक्कर काटने पड़ते हैं। इसमें तमाम शिकायतें भी रहती हैं लेकिन ऑनलाइन प्रणाली में शिकायतें कम रहेंगी। आवेदक के ऑनलाइन आवेदन के बाद औषधि निरीक्षक प्रस्तावित दुकान आदि का भ्रमण कर लाइसेंस को स्वीकृति देंगे या कमियां पाए जाने पर उसे अस्वीकृत करेंगे। औषधि नियंत्रक ताजबर सिंह जग्गी ने बताया कि इस बावत प्रक्रिया गतिमान है। अगले कुछ वक्त में ऑनलाइन व्यवस्था लागू कर दी जाएगी।
वेबसाइट पर रहेगा पूरा विवरण
ऑनलाइन प्रणाली लागू होने के बाद विभाग की वेबसाइट पर दवा प्रतिष्ठानों का पूरा विवरण रहेगा। लाइसेंसी के फोन नंबर, ई-मेल आदि का ब्यौरा भी रहेगा। वहीं, इस प्रणाली से व्यवसाय में पारदर्शिता भी आएगी। लाइसेंस के लिए फार्मासिस्ट की अनिवार्यता है। अब तक एक ही फार्मासिस्ट कई प्रतिष्ठानों से अपने नाम का पंजीकरण करा लेते हैं। ऑफलाइन प्रणाली में यह बात सामने नहीं आ पाती। लेकिन ऑनलाइन आवेदन प्रक्रिया में एक फार्मासिस्ट के नाम का पंजीकरण एक से अधिक प्रतिष्ठानों के लिए नहीं हो सकेगा।
परेशान कर सकती हैं व्यवस्थाएं
ऑनलाइन प्रणाली में अभी कुछ वक्त और लग सकता है। इसे लेकर विभाग को अभी आवश्यक संसाधन जुटाने होंगे। इसके अलावा कर्मियों का प्रशिक्षण भी होना है। सॉफ्टवेयर इंस्टॉल होने और इसे सही ढंग से क्रियाशील होते भी वक्त लगेगा।