पहाड़ की व्यथा और सपनों की कहानी है गणेश सैली की नई किताब

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मशहूर लेखक गणेश सैली के पाठकों के लिये उनकी लेखनी से रूबरू होने का मौका फिर आ गया है। अपनी लोकप्रिय किताबों “गप्प एंड गोसिप्प”, “द लटर्स ऑफ ए मसूरी मर्चेंट” और “मसूरी ईयर्स” के बाद गणेश सैली की नई किताब “वंडरइंग थ्रू गढ़वाल हिमालया” बाज़ार में आ गई है। किताब के बारे में बताते हुए सैली कहते हैं कि, “ये किताब उनके पिछले 40 सालों की फोटोग्राफी अौर लेखन का संकलन है, जोकि फुरसत के पलों में पिरोया गया है।”

ganesh saili

200 पन्नों और 22 चैपटरों में य़े किताब आपको लेखों अौर तस्वीरों के जरिये पहाड़ों की जादूई सफर पर ले जायेगी। पहाड़ों में जन्में, पले औऱ बड़े हुये सैली कहते हैं कि, “ये किताब मेरे जीवन के सफर को बयां करती है।”

इस किताब कि शुरूआती कहनी खुद लेखक के पिता के जीवन पर आधारित है। उन्होंने 16 साल की कम उम्र में हमारे पुश्तैनी गांव सैल जो कि चमोली जिले में है, वहा से आकर मसूरी में अपना घर बसाया था। ये किताब हर उस पहाड़ी के दिल को छू जायेगी जो अाज वहा से दूर आजिविका के लिये गया तो है पर सपने इसी पहाड़, गाँव, घर, परिवार को देखता है।