काशीपुर के राधेहरि महाविघालय में प्राचार्य के कारनामें लगातार ही सुर्खियों में रहते है। मनमोजी प्राचार्य मानकों को ताक पर रख कर जहां महाविघालयमें अपने ही नियम कानून बनाते है वहीं रुल फालों करना तो दूर उनके लिए रुल कोई मायने ही नहीं रखते।
वित्तीय अनियमित्ताओं का खेल हो या फिर खरीद फरोख्त में व्याप्त घोटाले, इन सब के मास्टर माईन्ड महाविघयालय के प्राचार्य अर्जुन सिंह सिराडी फिर सुर्खियों में है, इस बार तो कारनामा एेसा कि ओपन युनिवर्सिटी की परिक्षाओं के प्रभारी प्राचार्य ने पहले तो उपस्तिथि पुस्तिका में हस्ताक्षर कर उपस्तिथि दर्ज करायी उसके बाद दुसरे शिक्षक को चार्ज देकर खुद छुट्टी मनाने चले गये।
जबकि परीक्षा केन्द्र के बतौर प्रभारी प्राचार्य केन्द्र नहीं छोड सकते थे, मगर उनके लिए नियम कोई मायने नहीं रखता, लिहाजा अपनी उपस्तिथि के हस्ताक्षकर कर प्राचार्य महोदय दुसरे को चार्ज देकर चले गये और नियमों की जमकर खिल्ली उडाते रहे।