नैनीताल जनपद के गंगरकोट-सुयालबाड़ी स्थित जवाहर नवोदय विद्यालय में कोरोना विस्फोट हुआ है। शनिवार शाम साढ़े आठ बजे आई कोरोना रिपोर्ट में यहां 85 बच्चे पॉजिटिव निकले हैं। अभी भी संक्रमित पाए गए नमूनों की गिनती चल रही है, इसलिए संख्या कुछ घट-बढ़ सकती है।
सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र खैरना के प्रभारी चिकित्साधिकारी डॉ सतीश पंत ने बताया कि यहां कुछ बच्चों को सर्दी-जुकाम की शिकायत पर की गई जांच में गत 30 दिसंबर को प्रधानाचार्य तथा 8 बच्चे कोरोना संक्रमित पाए गए थे। इसके बाद उसी दिन विद्यालय को कंटेनमेंट जोन बनाकर यहां 480 बच्चों के स्वैब के नमूने जांच के लिए भेजे गये। शनिवार को मिली रिपोर्ट में विद्यालय के 85 बच्चे कोरोना संक्रमित पाए गए हैं।
जनपद की सीएमओ डॉ. भागीरथी जोशी ने बताया कि आज संक्रमित पाए गए किसी भी बच्चे में कोरोना के कोई लक्षण नहीं हैं, सभी स्वस्थ हैं। विद्यालय को बंद करवा दिया गया है। विभागीय टीमों ने बच्चों को आवश्यक दवाएं उपलब्ध करा दी हैं।नैनीताल में वाली-अल्मोड़ा हाईवे स्थित गंगरकोट सुयालबाड़ी के जवाहर नवोदय विद्यालय में शनिवार को 85 विद्यार्थी कोरोना पॉजिटिव पाए गए। क्षेत्र के राजकीय प्राथमिक विद्यालय सौनगांव में तैनात शिक्षक की भी रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। बीते बुधवार और बृहस्पतिवार को 11 छात्र-छात्राओं के साथ विद्यालय के प्रधानाचार्य की रिपोर्ट भी संक्रमित आई थी, जिन्हें अलग-अलग हॉस्टल में आइसोलेट किया गया है।
इनकी देखभाल डॉक्टरों की टीम कर रही है। सीएचसी गरमपानी के कोविड सैंपल प्रभारी मदन गिरी गोस्वामी ने बताया कि विद्यालय के 85 विद्यार्थी कोरोना संक्रमित आए है। विद्यालय के 70 प्रतिशत बच्चे बुखार, खासी और नाक बंद से पीड़ित हैं। वहीं, राप्रावि सौनगांव में तैनात दूसरे शिक्षक भी कोरोना संक्रमित आए हैं। क्षेत्र में लगातार कोरोना संक्रमण बढ़ने से स्वास्थ्य विभाग की टीम भी सकते में आ गई है।
प्रशासन भी क्षेत्र में बढ़ते संक्रमण को रोकने के लिए लोगों को मास्क, सैनिटाइजर और सामाजिक दूरी बनाने को लेकर जागरूक कर रहा है। कोश्याकुटौली के एसडीएम राहुल साह का कहना है कि नवोदय विद्यालय को माइक्रो कंटेनमेंट जोन घोषित कर दिया है। DM धीराज गर्ब्याल ने बताया कि जवाहर नवोदय विद्यालय के हॉस्टल में रहने वाले 450 बच्चों की सैंपलिंग के बाद 85 बच्चे पॉजिटिव पाए गए हैं। एक बार फिर बच्चों की सैंपलिंग की जाएगी। जांच परिणाम आने के बाद बच्चों को घर भेजा जाएगा।