उत्तराखंड में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने विधानसभा चुनाव-2022 के लिए मौजूदा 10 विधायकों का टिकट काट दिया है। अभी कुल 59 उम्मीदवारों के नामों घोषित किया गया है जबकि 11 विधानसभाओं में उम्मीदवारों के नाम की घोषणा करनी बाकी है। कुछ सीटों पर विधायक के बेटे और पत्नी पर भी दांव आजमाया गया है। मुख्यमंत्री और प्रदेश अध्यक्ष के अलावा मंत्रियों को परंपरागत सीट से ही उम्मीदवार बनाया गया है।
भाजपा हाईकमान की ओर से प्रदेश की 70 में विधानसभाओं में से अभी 59 विधानसभा सीटों की आज पहली सूची दिल्ली से जारी की गई। इसमें मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी को खटीमा से तो प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक हरिद्वार से चुनाव चुनाव लड़ेंगे। पुष्कर सिंह धामी खटीमा से दो बार विधायक रहे हैं। महिला कांग्रेस की प्रदेश अध्यक्ष सरिता आर्या इसी हफ्ते भाजपा में शामिल हुई थीं। उनको भी नैनीताल से उम्मीदवार बनाया गया है। इसके साथ ही पुरोला से दुर्गेश्वर लाल को टिकट मिला है।
नेता प्रतिपक्ष प्रीतम सिंह के खिलाफ इस बार गायक जुबिन नौटियाल के पिता राम शरण नौटियाल को चकराता विधानसभा से चुनाव मैदान में उतारा गया है। भाजपा ने वर्ष 2017 में विकास नगर से मुन्ना सिंह चौहान और उनकी पत्नी मधु चौहान को चकराता से मैदान में उतारा था। इसमें मुन्ना सिंह चौहान तो जीत गए थे, लेकिन उनकी पत्नी बहुत ही कम वोटों के अंतर से हारी थीं। वर्तमान में मधु चौहान देहरादून जिला पंचायत की अध्यक्ष हैं।
इस बार जातीय संतुलन को साधने के लिए पार्टी ने 59 में से 15 ब्राह्मण चेहरों को उम्मीदवार बनाया है। इसके अलावा तीन वैश्य चेहरों को भी टिकट दिया है। अन्य समाज के प्रतिनिधियों को भी उम्मीदवार बनाया गया है।
इनका कटा टिकट–
सिटिंग विधायक थराली से मुन्नी देवी का टिकट काटकर भोपाल राम टमटा और कर्णप्रयाग विधायक सुरेन्द्र सिंह नेगी के स्थान पर अनिल नौटियाल को उम्मीदवार बनाया गया है। खानपुर विधायक कुंवर प्रणव सिंह ‘चैम्पियन‘ के स्थान पर उनकी पत्नी कुंवरानी देवयानी को इस बार पार्टी ने मैदान में उतारा है। यमकेश्वर से पूर्व मुख्यमंत्री बीसी खंडूडी की बेटी ऋतु खंडूडी भूषण के स्थान पर रेणू विष्ट को टिकट मिला है। पौड़ी से मुकेश सिंह कोली के स्थान पर राजकुमार और गंगोलीहाट से मीना गंगोला के स्थान पर फकीर राम टमटा को टिकट दिया गया है।
जबकि द्वाराहाट से महेश सिंह नेगी के स्थान पर अनिल शाही को उम्मीदवार बनाया गया है। महेश नेगी पर एक महिला ने दुष्कर्म का आरोप लगाया है। अल्मोड़ा से विधानसभा उपाध्यक्ष रघुनाथ सिंह चौहान का पार्टी ने टिकट काटकर कैलाश शर्मा पर दांव खेला है। काशीपुर से हरभजन सिंह चीमा के स्थान पर उनके बेटे त्रिलोक सिंह चीमा को इस बार पार्टी ने उम्मीदवार बनाया है।
दिवंगत कपूर की पत्नी को मिला टिकट-
कैंट विधानसभा सीट से आठवीं बार लगातार विधायक रहे हरबंस कपूर के निधन के बाद उनकी पत्नी सविता कपूर को उम्मीदवार बनाया गया है। भाजपा के वरिष्ठतम विधायक और कैंट विधायक हरबंस कपूर का पिछले साल दिसंबर 13 को निधन हो गया था। कपूर उत्तराखंड के साथ-साथ यूपी विधानसभा में की विधायक रह चुके हैं।
निर्दलीय विधायकों को भी बनाया उम्मीदवार-
निर्दलीय भीमताल विधायक राम सिंह कैड़ा और धनोल्टी से निर्दलीय प्रीतम सिंह पंवार कुछ माह पहले भाजपा में शामिल हुए थे। इन दोनों को उसी सीट से उम्मीदवार बनाया गया है।
बीसी खंडूडी की बेटी को नहीं मिला टिकट-
पूर्व मुख्यमंत्री भुवन चन्द्र खंडूडी की बेटी ऋतु खंडूडी भूषण का टिकट इस बार यमकेश्वर से काट दिया गया है। बीसी खंडूडी के बेटे मनीष खंडूडी पौड़ी से कांग्रेस की सीट पर लोकसभा चुनाव लड़े थे। टिकट कटने के पीछे यह भी प्रमुख कारण माना जा रहा है। अल्मोड़ा जिले की द्वाराहाट विधानसभा सीट से भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के विधायक महेश नेगी पर एक महिला की ओर से दुष्कर्म का आरोप लगाया है। इनका भी टिकट ने पार्टी ने काट दिया है।
छह महिलाओं को बनाया उम्मीदवार-
भाजपा ने मंत्री रेखा आर्य सहित 6 महिला को उम्मीदवार बनाया है। इनमें से कांग्रेस से आई सरिता आर्य और दिवंगत विधायक हरबंश कपूर की पत्नी सविता कपूर, विधायक चैंपियन की पत्नी कुंवरानी देवयानी के अलावा यमकेश्वर से ऋतु खंडूडी के स्थान पर रेणु विष्ट और वर्तमान विधायक चंद्रा पंत का नाम शामिल है।
इन 11 सीटों पर उम्मीदवारों का ऐलान बाकी-
हल्द्वानी, रुद्रपुर, लालकुवां, केदारनाथ, टिहरी, डोईवाला, झबरेड़ा, पिरान कलियर, कोटद्वार,रानीखेत, जागेश्वर पर अभी उम्मीदवार पर निर्णय नहीं हुआ है। इसमें डोईवाला सीट पर पहले ही त्रिवेन्द्र सिंह रावत चुनाव नहीं लड़ने को लेकर पार्टी को पत्र लिख चुके हैं।