कोटद्वार बेस अस्पताल में चार साल से नहीं है कार्डियोलॉजिस्ट

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cardiologist not present in kotdwar base hospital from past 4 years
कोटद्वार। स्वास्थ्य विभाग की अनदेखी के चलते कोटद्वार में लोगों को पर्याप्त स्वास्थ्य सुविधाएं नहीं मिल पा रही हैं। कोटद्वार बेस अस्पताल में हृदय रोग विशेषज्ञ (कार्डियोलॉजिस्ट) की तैनाती नहीं होने का खामियाजा मरीजों को भुगतना पड़ रहा है। यहां पिछले चार वर्ष से कार्डियोलॉजिस्ट की नियुक्ति नहीं हुई।
यहां पर नियुक्त फिजिशियन को भी सीजन ड्यूटी के तहत केदारनाथ भेजा गया है। स्वास्थ्य विभाग की इस चूक का खामियाजा स्थानीय लोगों को भुगतना पड़ रहा है। इस दौरान कई मौतें यहां हार्टअटैक से हो चुकी हैं। इसके बावजूद सरकारी सिस्टम अंजान बना हुआ है। कोटद्वार वासियों की लगातार मांग के बाद साल 1970 में यहां संयुक्त अस्पताल का निर्माण हुआ था।
दुगड्डा के अलावा द्वारीखाल, यमकेश्वर, जयहरीखाल, रिखीणीखाल व नैनीडांडा ब्लॉक के साथ ही बिजनौर जनपद के गांव के लोग इसी अस्पताल पर निर्भर हैं। लगातार बढ़ती मरीजों की संख्या को देखते हुए पिछले साल इसे बेस अस्पताल का दर्जा दिया गया था।
ढांचागत सुधार के बाद यहां डिजिटल एक्स-रे, एमआरआई, सीटी स्कैन, लीथो ट्रिप्सी और अल्ट्रासाउंड की मशीनें तो स्थापित हो गई, लेकिन एक कार्डियोलॉजिस्ट की व्यवस्था नहीं हो पाई। थोड़ा बहुत काम फिजिशियन की मौजूदगी से चल भी रहा था लेकिन उनकी ड्यूटी पिछले कुछ समय से केदारनाथ में है। ऐसे में दिल के रोगियों के लिए समस्या खड़ी हो गई है। हार्ट से जुड़ा आए दिन कोई न कोई केस इस अस्पताल में पहुंचता है। मगर उपचार के अभाव में या तो उसे हायर सेंटर रेफर किया जाता है या फिर वह यहीं दम तोड़ देता है।
सीएमएस डॉ. आरएस चौहान का कहना है कि बेस अस्पताल में कार्डियोलॉजिस्ट की मांग लगातार की जा रही है और प्रत्येक बैठक में इस मुद्दे को उठाया भी जा रहा है।