भारत सरकार के कैबिनेट सचिव ने नोटबंदी पर जानकारी ली

0
1078

कैबिनेट सचिव भारत सरकार प्रदीप कुमार सिन्हा ने मुद्रा विमुद्रीकरण से संबंधित समीक्षा बैठक सभीसमस्त राज्यों के मुख्य सचिवों से विडियों कांफ्रेन्सिंग के माध्यम से की गई।

 उत्तराखण्ड के मुख्य सचिव ने बताया कि:

  • सभी जिलों के जिलाधिकारियों द्वारा जिला स्तरीय बैंकर्स समिति के माध्यम से 635 शिविर लगाकर 12,740 नये बैंक खाते खोले गये, ये खाते असंगठित क्षेत्र के श्रमिकों के खोले जा रहे है, ताकि किसी भी श्रमिक/मजदूर को कोई दिक्कत न आयेे।
  •  शिविर आयोजन का काम आगे भी चलता रहेगा, जब तक असंगठित क्षेत्र के शत-प्रतिशत श्रमिकों के खाते न खुल जायें। 
  •  उत्तराखण्ड में 2215 बैंक शाखाएं है, जिनमें से 1108 शाखाएं ग्रामीण क्षेत्र, 670 अर्द्धसरकारी क्षेत्र तथा 437 शहरी क्षेत्र में स्थित है।
  • सभी बैंको को निर्देश दिये गये है, कि वे अपने बैंक में खुले खातों में यह सुनिश्चित कर लें, कि यदि किसी खाते के लिए ए.टी.एम.(ATM) कार्ड जारी न किया गया हो, तो तत्काल जारी करा दें। 
  • बैंको में नकदी लेने की कतारों को कम करने के लिए रिजर्व बैंक आॅफ इंडिया से अनुरोध किया गया है, कि प्रदेश में शीघ्रातिशीघ्र नेशनल पेमेन्ट्स काॅरपोरेशन आॅॅफ इंडिया, निजी कम्पनियों, जो कि मोबाईल वाॅलेट के माध्यम से पैसे का लेन-देन हेतु विशेषज्ञ है, को बुलाकर बैंक व मोबाईल वैलेट कम्पनी के सहयोग से भारतीय उद्योग संघ उत्तराखण्ड, सी.आई.आई.ए. चैप्टर उत्तराखण्ड व्यापार संघ किराना मर्चेन्ट के साथ समन्वय कर कैशलेश ट्रांजिक्शन आर्किटैक्चर स्थापना में मदद कराये 
  • प्रदेश में 4000 सिटीजन सर्विस सेन्टर है, जिनके माध्यम से आगामी 10-15 दिन में जिला, विकास खण्ड स्तर में डिजीटल भुगतान व वित्तीय साक्षरता प्रशिक्षण शिविर का आयोजन किया जा रहा है।
  •  उन्होने बताया प्रदेश के दूरस्थ पहाड़ी इलाको में नेटवर्क की समस्या है, जिसके लिए 914 वी.सेट लगाने के आदेश दियेे गये हैं, जो बैंको द्वारा स्थापित किये जाने है, जिनमें से एस.बी.आई द्वारा 18 लगा दिये गये है।
  • प्रदेश में नगदी लेन-देन हेतु बिजनेस करसपोन्डेन्ट की सुविधा उपलब्ध है, जहां किसी भी बैंक के डेबिट कार्ड से नकदी मिल जाती है,

विडियो कांफ्रेन्सिंग में प्रमुख सचिव मनीषा पंवार, सचिव अमित नेगी, सचिव आई.टी. दीपक गैरोला ,क्षेत्रीय निदेशक आर.बी.आई. सुब्रत राय, डीजीएम एस.बी.आई. सुबीर कुमार मुखर्जी, ए.जी.एम रमेश पंत आदि उपस्थित थे।