जिलाधिकारी राजस्व वसूली में और लाएं तेजी : मुख्यमंत्री

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मुख्यमंत्री ने सभी जिलाधिकारियों को राजस्व वसूली में तेजी लाने के निर्देश देते हुए कहा कि कर चोरी करने वाले पर सख्त कार्रवाई की जाए। सभी विभागों को इनोवेटिव प्रयास करने होंगे। ऑनलाइन सिस्टम को और मजबूत करने पर विशेष ध्यान देने के साथ ही बैठकों में जो निर्णय लिये जा रहे हैं,उन निर्णयों की अगली बैठक में एक्शन टेकन रिपोर्ट प्रस्तुत की जाए।

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने सचिवालय में राजस्व प्राप्ति के सम्बंध में बैठक लेते हुए अधिकारियों को यह निर्देश दिए। मुख्यमंत्री ने सभी जिलाधिकारियों से कहा कि जनपदों में बनाई गई समिति की नियमित बैठक करें। देहरादून, हरिद्वार, उधमसिंहनगर एवं नैनीताल जनपद में राजस्व वसूली में और तेजी लाने की आवश्यकता है। राजस्व वृद्धि के लिए सभी विभागों को सजगता और पूरी सक्रियता के साथ समन्वय बनाकर कार्य करने को कहा।

मुख्यमंत्री धामी ने अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि राजस्व वसूली की नियमित मॉनिटरिंग की जाय, इसके लिए पोर्टल विकसित किया जाए। विभिन्न विभागों के राजस्व वसूली के डाटा और राजस्व परिषद में राजस्व वसूली के डाटा में जो अन्तर दिख रहा है,उस समस्या का समाधान होगा।

मुख्यमंत्री ने कहा कि ऊर्जा के क्षेत्र में यूपीसीएल और यूजेवीएनल को राजस्व बढ़ाने की दिशा में विशेष प्रयासों की जरूरत है। बिजली चोरी संभावित क्षेत्रों में लगातार सतर्कता आधारित गतिविधियां चलाई जाए और उच्च औद्योगिक मांग वाले क्षेत्रों में बिलिंग दक्षता बढ़ाने की दिशा में विशेष ध्यान दिया जाए। वन सम्पदाओं के बेहतर उपयोग से राजस्व वृद्धि की दिशा में और प्रयास किये जाएं। तराई क्षेत्रों में कमर्शियल प्लांटेशन की दिशा में तेजी से कार्य किये जाएं। प्रकाष्ठ बिक्री के लिए उचित व्यवस्था की जाए। जड़ी-बूटियों के संरक्षण एवं सतत विकास के लिए दीर्घकालिक योजना को ध्यान में रखकर कार्य किये जाएं। वन क्षेत्रान्तर्गत के बरसाती नालों को चिन्हित कर चैनेलाइज करने की दिशा में ध्यान दिया जाए।

उन्होंने बैठक में अधिकारियों से कहा कि पिछले सालों की रिकवरी की गति में और तेजी लाएं। परिवहन, खनन, जीएसटी आदि क्षेत्रों में गहन निगरानी रखने के लिए ऑनलाइन सिस्टम को और बेहतर बनाया जाए। जीएसटी के तहत राजस्व वृद्धि बढ़ाने के लिए और प्रयास किये जाएं। कर चोरी करने वालों पर सख्त कार्रवाई की जाए। जीएसटी संग्रह के लिए अन्य राज्यों की बेस्ट प्रैक्टिस का भी गहनता से अध्ययन किया जाए।

सिंचाई विभाग बाढ़ बचाव के लिए बनाएं ठोस कार्ययोजना –

मुख्यमंत्री ने कहा कि अतिवृष्टि के कारण नदियों का जल स्तर लगातार खतरे के निशान के आस-पास चल रहा है, इसके कई क्षेत्रों में बाढ़ की स्थिति बनी रहती है। बाढ़ की स्थिति से बचाव के लिए सिंचाई विभाग की ओर से ठोस कार्ययोजना बनाई जाए। जिलाधिकारी भी आपदा प्रबंधन की दृष्टि से इन सभी चीजों को ध्यान में रखते हुए कार्य करें।

पर्वतीय क्षेत्रों में निवेश के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा-

मुख्यमंत्री ने पर्वतीय क्षेत्रों में उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए इन्वेस्टर समिट में निवेशकों को पर्वतीय क्षेत्रों में निवेश के लिए प्रोत्साहित किया जायेगा। सभी जिलाधिकारी देख लें कि उनके जनपदों में किस-किस क्षेत्र में निवेश की अधिक संभावनाएं हैं। भारत सरकार से मिलने वाली ग्रांट पर तेजी से कार्य किये जाएं।