हरिद्वार कांवड़ मेला धीरे धीरे परवान चढ़ने लगा है। कांवड़ मेले के दौरान आस्था के कई रंग रूप देखने को मिल रहे हैं। हरियाणा के झज्जर निवासी रिटायर्ड आर्मी मैन इंद्रजीत शर्मा अपनी वृद्ध माता फूला देवी को हाथ रिक्शा पर बैठाकर कांवड़ यात्रा कराने हरिद्वार आए हैं। इंद्रजीत शर्मा ने बताया कि वे पहली बार कांवड़ लेने हरिद्वार आए हैं। वे विशेष रूप से उन्हें अपनी माता को गंगा स्नान व कांवड़ यात्रा कराने के लिए धर्मनगरी हरिद्वार आए हैं। उनके साथ उनके भाई व कई अन्य परिजन भी साथ हैं। इंद्रजीत शर्मा ने बताया कि बुजुर्गों का सम्मान व आदर करने से भगवान भोलेनाथ प्रसन्न होते हैं। जिससे परिवारों में सुख समृद्धि का वास होता है। युवाओं को माता-पिता का सम्मान करते हुए धर्म के प्रति आस्था रखनी चाहिए।
कांवड़ मेले के चौथे दिन ही लाखों कांवड़ियों के पहुंचने से हरकी पैड़ी सहित तमाम गंगा घाटों पर भगवा वस्त्र पहने कांवड़िएं ही नजर आए। जबकि कांवड़ियों के आगमन का सिलसिला लगातार चल रहा है। तमाम बसों, ट्रेन व निजी वाहनों से रोजाना लाखों कांवड़िएं हरिद्वार पहुंच रहे हैं।
पुलिस प्रशासन की और से वापसी के लिए नहर पटरी मार्ग निर्धारित किया गया है। अधिकांश कांवड़िए नहर पटरी मार्ग से ही वापसी कर रहे हैं। कांवड़ मार्ग पर जगह-जगह पुलिस पिकेट पर लाऊडस्पीकर से कांवड़ियों से पटरी मार्ग से लौटने का आग्रह किया जा रहा है। लेकिन कुछ कांवड़ियों के हाईवे से जाने की जिद के कारण उनकी पुलिस से नोंकझोक भी हो रही है। कांवड़ियों को हाईवे पर जाने से रोकने व नहर पटरी मार्ग का उपयोग करने के लिए भारी पुलिस बल के साथ पैरामिलिट्री को भी तैनात किया गया है। नहर पटरी मार्ग पर प्रशासन की ओर से काफी इंतजाम किए गए हैं। कांवड़ लेकर लौट रहे शिवभक्तों को चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराने के लिए स्वास्थ्य शिविर लगाए गए हैं। चिकित्सा शिविरों में सरकारी अस्पताल के चिकित्सक चौबीस घंटे सेवाएं दे रहे हैं।