उत्तराखंड: अब राज्य में 47 प्रतिशत घरों तक पहुंचने लगा है पेयजल: प्रह्लाद पटेल

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    उत्तराखंड

    जल जीवन मिशन योजना आम आदमी के लिए बहुत ही प्रभावकारी साबित हो रही है। यदि उत्तराखंड की बात की जाए तो जहां 2019 में इस योजना के तहत 08 प्रतिशत घरों में पानी पहुंचता था वहीं अब यह 47 प्रतिशत घरों तक पहुंचने लगा है जो अपने आप में एक उपलब्धि है। यह मानना है केन्द्रीय राज्य मंत्री जल शक्ति प्रह्लाद पटेल का। पटेल यहां शनिवार को भारतीय जनता पार्टी प्रदेश के मुख्यालय में मीडिया से बातचीत कर रहे थे।

    केन्द्रीय राज्य मंत्री पटेल ने गतिशीलता और कार्य कुशलता के संदर्भ में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व की सराहना करते हुए कहा कि जो काम 70 सालों में नहीं हुआ था, वह सात साल में हो गया है। यह नेतृत्व की क्षमता का कमाल है। असंभव दिखने वाले काम भी संभव हो रहे हैं, जिन कामों को हम सब मानते थे कि यह काम नहीं होंगे, वही काम अब बड़ी आसानी से संपादित हो रहे हैं। इसके पीछे केवल नेतृत्व क्षमता और सकारात्मक सोच है। उत्तराखंड सरकार की सराहना करते हुए केन्द्रीय मंत्री ने कहा कि इसे प्रदेश सरकार की इच्छा शक्ति का ही नमूना माना जाएगा कि आंगनबाड़ी केन्द्रों और विद्यालयों तक पानी पहुंचाने का काम दो चरणों में पूरा कर लिया है जो सराहनीय है। इसका सीधा लाभ बच्चों को मिल रहा है।

    केन्द्रीय जल संसाधन मंत्री ने कहा कि जल जीवन मिशन का काम आवश्यक काम है। इसके लिए निर्वाचन आयोग से भी आग्रह करूंगा कि इस काम को न रोका जाए ताकि लोगों को स्वच्छ जल मिलता रहे। उन्होंने कहा कि इस संदर्भ में हम अन्य राजनीतिक दलों से सम्पर्क करेंगे और उनसे भी इसके लिए आग्रह करेंगे कि इस काम को न रोका जाए। जल संसाधन मंत्री ने कहा कि कोरोनाकाल के कारण पहले ही पेयजल योजना पहुंचाने में कमी आयी है। इसका कारण संघातित बीमारी थी। अब इस योजना को न रोका जाए क्योंकि यह चुनावी वर्ष है, चुनावी वर्ष में पेयजल संबंधी काम को निरंतर चालू रखा जाए।

    उन्होंने कहा कि देश के चार राज्य ऐसे हैं, जहां चुनाव हैं, लेकिन 2022 तक लोगों को स्वच्छ जल मिले इसका काम चलते रहना चाहिए। उन्होंने बताया कि हमने वहां पर समय से पहले जल जीवन मिशन योजना को पूरा किया है। इन राज्यों में गोवा, तेलंगाना, लक्ष्यदीप, पुडुचेरी के नाम शामिल हैं, जहां समय से पहले यह काम पूरा कर लिया गया है। उत्तराखंड भी इसी श्रेणी में शामिल है। हम चाहते हैं कि यहां भी समय से पहले जल जीवन मिशन योजना का काम पूरा किया जाए।

    उन्होंने यह भी बताया कि प्रदेश के 27 विकास खंडों में इस योजना का काम प्रायोगिक रूप से चल रहा है। अन्य विकासखंडों में यह कार्य शुरू किया गया है। साथ ही शिक्षण संस्थानों, राज्य के कार्यालयों और अन्य प्रतिष्ठानों में भी पेयजल पहुंचाया जाएगा। उन्होंने गंगा सफाई योजना की चर्चा करते हुए कहा कि इसी तरह का प्रयास अन्य नदियों के संदर्भ में किया जाएगा ताकि यह पवित्र नदियां अविरल बहती रहें। अनुबंध होने के बाद इन कामों को शीघ्र पूरा किया जाएगा। उन्होंने कहा कि हम जो काम प्रारंभ करें उसे पूर्णता प्रदान करें ताकि लोगों को उसका लाभ मिल सके।

    इस अवसर पर प्रदेश के जल संसाधन मंत्री बिशन सिंह चुफाल, प्रदेश उपाध्यक्ष अनिल गोयल, डॉ. देवेंद्र भसीन, मनवीर चौहान, संजीव वर्मा, सत्यवीर चौहान, विशाल गुप्ता समेत तमाम प्रमुख लोग उपस्थित थे।