राज्य में परिवहन विभाग के वाहनो में स्पीड गवर्नर लगाने के विरोध के चलते प्रदेश भर में जीप कमांडर, टैक्सी संचालकों ने अनिश्चितकालीन हड़ताल पर जाने का निर्णय लिया है। पहाड़ो पर यातायात का महत्वपूर्ण साधन जीप – कमांडर – ट्रैकर है जिस पर एक बड़े वर्ग की रोजीरोटी जुड़ी हुई है, साथ ही यह छोटी गाड़ियां पहाड़ों में लाइफ लाइन का काम करती है ।
प्रदेश में चार धाम यात्रा चरम पर है, ऐसे में परिवहन महासंघ ने कल से अनिश्चितकालीन हड़ताल और चक्का जाम का आह्वान किया है। जिसके चलते कल से तीर्थ यात्रियों के साथ-साथ स्थानीय यात्रियों को भी परेशानी उठानी शुरू कर दी है। पहाड़ो पर गाँव-गाँव तक पहुचने के लिए सिर्फ ये वाहन एक मात्र साधन है।
मैक्सी कैब ट्रेकर महा संघ के प्रदेश पदाधिकारी प्रमोद नौटियाल और भगवान सिंह राणा का कहना है कि, “सरकार का परिवहन विभाग स्थानीय वाहन स्वामियों का उत्पीड़न करके पहाड़ के वाहनों पर जबरदस्ती स्पीड गवर्नर लगा रहा है, जिसका पूरी तरह से विरोध किया जा रहा है। आगामी दिनों में चार धाम यात्रा संचालित करा रही टीजीएमओ और अन्य कंपनियां इस हड़ताल में शामिल होकर प्रदेश में परिवहन व्यवस्था को पूरी तरह ठप कर देगी जब तक सरकार हमारी मांगों पर ध्यान नहीं देगी।”
वहीं अधिकारियों का कहना है कि पहाड़ों पर ये गाड़ियां सवारियों को लेकर ज्यादा चक्कर लगाने के लिये खतरनाक तरीके से गाड़ियां चलाते हैं। जिसके चलते आये दिन दुर्धटनाओं की खबरें आती रहती हैं। इन्ही बेकाबू गाड़ियों पर लगाम लगाने के मकसद से ये एक्शन लिया जा रहा है।
बहरहाल इस एक्शन के लिये दोनो ही पक्षों की अपनी अपनी दलीलें हैं। पर इतना तो तय है कि आने वाले दिनों में इस हड़ताल से आम जनजीवन ज़रूर प्रभावित होगा।