उत्तराखंड में लगा पहला उपभोक्ता स्मार्ट मीटर

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राज्य की राजधानी में प्रदेश का पहला उपभोक्ता स्मार्ट मीटर बुधवार को लगा दिया गया। जल्द ही अन्य बिजली उपभोक्ताओं के घरों पर भी स्मार्ट मीटर लगाने का काम शुरू होगा। राज्यभर में लगभग 15.87 लाख उपभोक्ताओं के लिए स्मार्ट मीटर लगाएं जाएंगे।

केन्द्र सरकार की महत्वकांक्षी योजना आरडीएसएस के अन्तर्गत प्रदेशभर में लगभग 15.87 लाख उपभोक्ताओं के लिए स्मार्ट मीटर लगाए जाने हैं। इसी के तहत बुधवार को ऊर्जा भवन स्थित कैम्प कार्यालय आवास पर उत्तराखण्ड पावर कारपोरेशन लिमिटेड (यूपीसीएल) के प्रबन्ध निदेशक अनिल कुमार ने राज्य का प्रथम उपभोक्ता स्मार्ट मीटर की स्थापना की। इसके साथ ही निदेशक (परियोजना), निदेशक (वित्त), अधिशासी निदेशक (मा.सं.), मुख्य अभियन्ता (एमएआईएसपी) और अधिशासी अभियन्ता (भुगतान इकाई) आरडीएसएस के आवासों पर भी स्मार्ट मीटर लगाए गए हैं।

इस मौके पर प्रबन्ध निदेशक अनिल कुमार ने बताया कि स्मार्ट मीटर लगाने की शुरूवात तीनों निगमों के विभागीय अधिकारियों और कर्मचारियों के आवासों से की जा रही है। तत्पश्चात् अन्य सरकारी विभागों और सम्मानित उपभोक्तागणों के घरों पर चरणबद्ध तरीके से स्मार्ट मीटर लगाए जाएंगे। साथ ही यह भी बताया कि स्मार्ट मीटर की स्थापना गरीब उपभोक्ताओं के लिए एक वरदान साबित होगा। क्योंकि स्मार्ट मीटर एक ऐसा आधुनिक बिजली मीटर है, जिसका नियंत्रण उपभोक्ताओं के हाथ में होगा। साथ ही उपभोक्ता न्यूनतम 100 के रिचार्ज से भी अपनी बिजली चालू कर सकेंगे।

विद्युत उपभोक्ताओं को स्मार्ट मीटर से बिजली खपत से जुड़ी सूचनाओं की ऑनलाइन उपलब्धता, पल-पल के बिजली के उपयोग की जानकारी मिलेगी। सभी जरूरी सूचनाओं के संदेश, गलत बिजली बिल के झंझट से छूटकारा तथा सोलर उपभोक्ताओं को इसी मीटर को नेट मीटर में बदलने की सुविधा इत्यादि सहित आसानी से भुगतान के कई विकल्प उपलब्ध होंगे। इसके अतिरिक्त स्मार्ट मीटर के धरातल पर उतरने से प्रदेशभर में बिजली चोरी में कमी और क्षेत्र में बिजली की आपूर्ति में सुधार जैसे अन्य फायदे भी होंगे।

प्रबन्ध निदेशक ने बताया कि इस योजना को धरातल पर उतारने के लिए कार्यदायी संस्था और सभी क्षेत्रीय अधिकारियों को भी आवश्यक दिशा निर्देश दिए गए हैं। स्मार्ट मीटर प्रणाली की स्थापना का यह कदम न केवल वर्तमान चुनौतियों का समाधान करेगा बल्कि भविष्य में ऊर्जा प्रबन्धन के तरीकों में भी सुधार लायेगा। यह पहल उपभोक्ताओं को बिजली उपयोग के प्रति जागरूक बनाएगी और उन्हें बेहतर सेवाएं प्रदान करने में मददगार साबित होगी।