उत्तराखंड की सीमा से सटे अस्पताल अब होंगे निगरानी में

0
1081
file image

(देहरादून) प्रदेश से सटे हरियाणा, यूपी और हिमाचल प्रदेश की सीमाओं पर बने डायग्नोस्टिक सेंटरों व अन्य चिकित्सालयों पर अब पीसीपीएनडीटी समिति की विशेष नजर होगी। बीते दिनों लिंग परीक्षण के मामले को गंभीरता से लेते हुए समिति सीमा से सटे सेंटरों पर निकरानी का कार्य करेगी। जिलाधिकारी ने इसे लेकर पीसीपीएनडीटी समिति को दिशा निर्देश जारी किए।
प्रदेश में चिकित्सा के नाम पर हो रहे गौरख धंधे पर लगाम लगाने के लिए अब जिला प्रशासन गंभीर नजर आ रहा है। पिछले दिनों किडनी कांड और कुछ रोज पहले भ्रूण लिंग परीक्षण का मामला सामने के बाद प्रशासन के ढुलमुल रवैये और कार्यशैली की भी पोल खोल गए। ऐसे मामले दोहराए न जाएंगे इसे देखते हुए अब जिलाधिकारी ने नए सिरे से सभी संस्थानों के निरीक्षण आदि को लेकर पीसीपीएनडीटी समिति को दिशा निर्देश जारी किए। शुक्रवार को जिला समुचित प्राधिकारी पीसीपीएनडीटी व जिलाधिकारी एसए मुरूगेशन की अध्यक्षता में जिलाधिकारी कैम्प कार्यालय में पीसीपीएनडीटी जिला सलाहकार समिति की बैठक आयोजित की गई। बैठक में कमेटी द्वारा 11 जनवरी 2018 को हरयाणा अम्बाला की टीम और जनपद की टीम द्वारा हरिद्वार रोड स्थित डॉ. प्रमोद कुमार त्यागी डायगोनास्टिक सेन्टर पर लिंग की जांच करते हुए अनाधिकृत तरीके से पकड़ा गया था, कमेटी द्वारा उपरोक्त केन्द्र व प्रिमाइसेज को सीज करने व पंजीकरण को निरस्त करने का निर्णय किया गया। कमेटी द्वारा डाॅ. शिप्रा व डाॅ. सुखविन्दर को हीलिंग टच अस्पताल में अपने ही विशेषज्ञता में कार्य करने की अनुमति, डाॅ. अभिनेश कुमार को चन्दन डायग्नोस्टिक सैन्टर में कार्य करने की अनुमति, डाॅ. अंकित पराशर को कम्बांइड मेडिकल इन्स्टीट्यूट में कार्य करने की सहमति का अनुमोदन करने, डाॅ. तुषार शर्मा को एक जगह मैक्स सुपरस्पेशलिटी अस्पताल में उनके आवेदन पर कार्य करने की अनुमति, चिकित्सा अधीक्षक हिमालय हाॅस्पिटल की शाखा चन्द्रेश्वर नगर को जनहित की दृष्टि से बरकरार रखने पर सहमति व अनुमोदन किया गया।
बैठक में समिति के सदस्यों ने आधार कार्ड आफिस माजरा के पास सुविधा एक्स-रे केन्द्र के निरीक्षण के पश्चात पाया कि महिला यूनिट से शौचालय जाने में मध्य में अल्ट्रासाउंड केन्द्र से निकलना पड़ता है, जिस पर कमेटी द्वारा निर्णय लिया गया कि केन्द्र पर महिला शौचालय, महिला यूनिट में ही बनाए जिससे अल्ट्रासाउंड रूम से न गुजरना पड़े, उसके पश्चात ही नवीन पंजीकरण की अनुमति प्रदान की जाएगी।
कार्यशैली पर उठाए सवाल
जिलाधिकारी ने पीसीपीएनडीटी कमेटी से कहा कि डाॅ. प्रमोद त्यागी सेन्टर पकड़वाने में अम्बाला की टीम की मुख्य भूमिका रही जो स्थानीय पीसीपीएनडीटी कमेटी के सूचना तंत्र की चूक दर्शाती है। उन्होने समिति को आड़े हाथों लेते हुए निर्देश दिए कि जमीनी स्तर पर समिति अपनी कार्यशैली ठीक कार्य करें व अपना सूचना नेटवर्क मजबूत करें। जिलाधिकारी ने विकासनगर व चकराता के हरियाणा व हिमाचल बार्डर पर विशेष निगरानी रखने के भी निर्देश दिए।
बैठक में जिला नोडल अधिकारी पीसीपीएनडीटी व मुख्य चिकित्सा अधिकारी डाॅ. वाईएस थपलियाल, वरिष्ठ गायनीकोलोजिस्ट राजकीय दून मेडिकल चिकित्सालय डाॅ. दीप्ति सिंह, दून महिला चिकित्सालय रेडियोलाजिस्ट डाॅ. सुबोध नौटियाल, गांधी शताब्दी पैथोलाॅजिस्ट डाॅ. एनके मिश्रा, जिला शासकीय अधिवक्ता (अपराध) बलवन्त राय अग्रवाल, जिला समन्वयक पीसीपीएनडीटी डाॅ. ममता बहुगुणा सहित सम्बन्धित अधिकारी उपस्थित थे।