रुद्रप्रयाग: पालिका के लिए आमदनी का जरिया बन रहा है अजैविक कूड़ा

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पालिका
अलकनंदा व मंदाकिनी के संगम पर बसे रुद्रप्रयाग को नगर पालिका बने डेढ़ दशक का समय बीत चुका है। लगभग पन्द्रह हजार आबादी वाले नगर पालिका क्षेत्र को सात वार्डों में बांटा गया है। जहां से प्रतिदिन घरों एवं दुकानों से नगर पालिका की ओर से करीब छह टन कूड़ा-कचरा एकत्रित किया जा रहा है। इस कूड़े में 40 क्विंटल जैविक और 20 क्विंटल अजैविक कचरा शामिल है। नपा की ओर से कूड़े को डंप करने के लिए मुख्यालय से पांच किमी दूर रैंतोली में डंपिंग जोन बनाया गया है जहां जैविक और अजैविक कूड़े की छंटनी की जा रही है। अजैविक कूड़े को कम्पैक्ट करने के लिए यहां कॉम्पेक्टर मशीन भी लगाई गई है।
बता दें कि वर्ष 2019 में जहां अजैविक कूड़े से नगर पालिका रुद्रप्रयाग को पन्द्रह हजार रुपये की आमदनी प्राप्त हुई। वहीं वर्ष 2021 में कमाई का आंकड़ा लाखों में चला गया है। तीन माह में अजैविक कूड़े से पालिका की दो लाख से ज्यादा की कमाई हुई है। अब पालिका ने हर साल अजैविक कूड़े से दस लाख की कमाई का टारगेट रखा हुआ है। जिस कूड़े को लेकर कभी नगर पालिका की किरकिरी होती रहती थी, उसी से अब लाखों की आमदनी प्राप्त हो रही है। बीते दो वर्षों में पालिका ने अजैविक कूड़ा-कचरा से तीन लाख रुपये से अधिक की कमाई कर दी है, जबकि जैविक कूड़े से खाद तैयार की जा रही है, जिसे ग्रेड के हिसाब से बेचनी की तैयारी है। कूड़े से प्राप्त हो रही धनराशि को पालिका निधि में जमा कर विकास कार्यों में खर्च किया जाता है।
नगर पालिका की ओर से छह फरवरी को अजैविक कूड़े को बेचकर 47 हजार 996 रुपये, 25 फरवरी को 47 हजार 805 रुपये, 26 मार्च को 42 हजार 477 रुपये एवं 8 जून को 68 हजार 487 रुपये की कमाई की गई। इस वर्ष पालिका ने 25, 389 किलो कूड़ा बेचकर अब तक दो लाख छह हजार सात सौ पैंसठ रुपये की कमाई की है।
नगर पालिका ईओ सीमा रावत ने बताया कि वर्ष 2019 से अब तक कूड़े से 3,11,765 रुपये की आमदनी हो चुकी है। इसी वर्ष फरवरी से जून तक कूड़े की चार किश्तों से दो लाख से अधिक की आय प्राप्त हुई है, जबकि बीते वर्ष 90 हजार और 2019 में पन्द्रह हजार रुपये कूड़ा बिक्री से प्राप्त हुए था। उन्होंने बताया कि लोग अपने घरों में अजैविक कूड़े को रखकर आमदनी कमा सकते हैं। इसके लिए उन्हें किसी मेहनत की भी जरूरत नहीं है। लोग घरों में एक माह का अजैविक कूड़ा इकट्टा कर पालिका को दे सकते हैं। पालिका का वाहन लोगों के घरों में आकर अजैविक कूड़े को उठाकर ले जायेगा। उन्होंने बताया कि जैविक कूड़े से खाद तैयार की जा रही है। खाद की टेस्टिंग के बाद गुणवत्ता का पता चल पायेगा और फिर इसे ग्रेड के हिसाब बेचा जायेगा। जिस हिसाब की खाद की ग्रेड तैयार होगी, उसी के तहत जैविक कूड़े की खाद बिकेगी।
नगर पालिका अध्यक्ष गीता झिक्वांण ने बताया कि नगर पालिका रुद्रप्रयाग के सात वार्डों में 22 महिला स्वच्छता समिति घर-घर जाकर कूड़ा उठाने का कार्य कर रही हैं। इसमें प्रति परिवार की ओर से तीस रुपये माह का दिया जाता है। घर-घर से उठाए जा रहे और व्यापारिक प्रतिष्ठान से उठाये जाने वाले कूड़े से कर के रूप में एक लाख की आय अर्जित होती है। ऐसे में सालभर में कूड़ा उठान का ही पालिका को 12 लाख तक का कर प्राप्त हो जाता है। उन्होंने बताया कि कूड़ा एकत्रित करने में नगर वासियों का पूरा सहयोग मिल रहा है, जिससे उठान में आसानी हो रही है। जो भी परिवार अलग-अलग श्रेणी में अधिक से अधिक मात्रा में कूड़ा एकत्रित करेगा, उसे नपा की ओर से पुरस्कृत भी किया जाएगा।