अब उत्तराखंड में चीड़ की पत्तियों से बनेगा कागज

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उत्तराखंड सरकार ने अब चीड़ के पत्तों से कागज बनाने की तैयारी कर ली है। इस योजना के लिये सोमवार को मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत और हंस फाउंडेशन के अधिकारियों के बीच बैठक हुई। मुख्यमंत्री रावत ने कहा कि चीड़ की पत्तियों से कागज बनाने की योजना बनाई जा रही है और आने वाले समय में इसे मनरेगा से जोड़ा जाएगा। इस प्रकार बने कागज से बने फाईल फोल्डर आदि वस्तुएं राज्य सरकार खरीदेगी।
मुख्यमंत्री  रावत ने कहा कि पर्वतीय क्षेत्रों में खेती को बढ़ावा देते हुए ग्रामीणों के रोज़गार के अवसर पैदा करने होंगे। राज्य में जैविक खेती के कन्सेप्ट पर काम करना होगा। इसमें हंस फाउंडेशन जैसे संगठन महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं।
  • वहीं हंस फाउंडेशन ने उत्तराखंड में किए जा रहे कार्यों की जानकारी देते हुए बताया कि
  • हंस फाउंडेशन ने पिंडर घाटी में ग्रामीण विकास का कार्यक्रम में 8 गांवों की 50 बस्तियों में चल रहा है।
  • यहां पीने का पानी, बिजली, कृषि आदि गतिविधियां चलाई जा रही हैं।
  • फाउंडेशन ने 12 एम्बुलेंस अपने खर्च पर राज्य सरकार को संचालन के लिए उपलब्ध करवाई है।
  • हल्द्वानी कैंसर अस्पताल की खराब मशीनों की मरम्मत करवाई गई है।
  • मेमोग्राफी की जांच के लिए दो मोबाईल वैन की व्यवस्था की गई है।
  • सतपुली में 250 बिस्तरों का अस्पताल व एक नैत्र चिकित्सालय भी संचालित किया जा रहा है।
  • 100 इंजीनियरिंग व मेडिकल छात्रों को छात्रवृत्ति दी जा रही है।
  • देश के 100 गांवों में ग्रेविटी आधारित पेयजल योजना बनाई जा रही है।
  • इसके बाद 100 और गांवों को इसके अंतर्गत लिया जाएगा।
राज्य में फिलहाल हंस फाउंडेशन 167 करोड़ रूपए से अधिक के प्रोजेक्ट चला रही है। ऐसे में राज्य सरकार इनकी मदद से राज्य के लिय और तरह तरह की योजनाऐं चलाने का प्रयास कर रही है।