प्रदेश में नए साल की शुरुआत के साथ वाहनों के रजिस्ट्रेशन और टैक्स की नई दरें लागू हो गई हैं। इससे एक ओर जहां नए वाहन खरीदना महंगा हो जाएगा, वहीं पर्वतीय मार्गों पर चलने वाले वाहनों और सिटी बसों को टैक्स की दरों में कुछ राहत मिलेगी। शेष वाहनों में बढ़ी हुई दरें लागू होंगी।
शासन ने गत दिसंबर में हुई कैबिनेट में वाहनों के रजिस्ट्रेशन शुल्क के साथ ही वाहनों की टैक्स की दरों में संशोधन किया था। इसके तहत रजिस्ट्रेशन शुल्क में बढ़ोतरी की गई थी। इसमें पांच लाख रुपये तक के वाहनों का रजिस्ट्रेशन शुल्क वाहन की कीमत का आठ प्रतिशत, दस लाख रुपये तक के वाहनों का रजिस्ट्रेशन शुल्क वाहन की कीमत का नौ प्रतिशत और दस लाख से अधिक कीमत के वाहनों का रजिस्ट्रेशन शुल्क कीमत का दस प्रतिशत वसूला जाना तय किया गया।
वहीं, वाहनों में पर्वतीय क्षेत्रों में चलने वाले वाहन व नगर निगम क्षेत्र में चलने वाली सिटी बसों के टैक्स में 50 फीसद तक की कटौती की गई है। सात सीट से अधिक वाले मैक्स वाहनों को भी छूट दी गई है। बिजली, बैटरी व सोलर पावर अथवा सीएनजी से चलते वाले वाहनों के टैक्स में भी 20 प्रतिशत की छूट दी गई है। मासिक और त्रैमासिक आधार पर टैक्स जमा करने वाले वाहनों को वार्षिक टैक्स जमा करने पर छूट दी गई है।
तिपहिया वाहनों को एक मुश्त कर भुगतान करने पर भी टैक्स में छूट दी गई है। अन्य राज्यों से आने वाले वाहनों के लिए दैनिक के साथ ही साप्ताहिक एवं मासिक टैक्स की व्यवस्था की गई है ताकि इन वाहन स्वामियों को बार-बार चैकपोस्ट पर न रुकना पड़े। वहीं, निजी वाहन के व्यावसायिक रूप में संचालन करते पाए जाने पर जुर्माने का प्रावधान किया गया है। सहायक परिवहन आयुक्त एसके सिंह ने इसकी पुष्टि करते हुए कहा कि मंगलवार रात 12 बजे से नई दरें लागू कर दी जाएंगी।