तृतीय केदार तुंगनाथ के कपाट शीतकाल के लिए हुए बंद

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तुंगनाथ
गोपेश्वर, पंच केदारों में तृतीय केदार भगवान तुंगनाथ के कपाट शीतकाल के लिए बुधवार को सुबह 11:30 बजे बंद कर दिए गये। इस अवसर पर सैकड़ों श्रद्धालुओं ने दर्शन किये। कपाट बंद होने की प्रक्रिया सुबह से शुरू हो गई थी। पूजा अर्चना, श्रृंगार, मंदिर में भोग लगने के पश्चात स्वयंभू शिवलिंग को समाधि दी गयी। इसके पश्चात तृतीय केदार तुंगनाथ के कपाट शीतकाल के लिए बंद किये गये।
कपाट बंद होते ही चल विग्रह डोली ने मंदिर की परिक्रमा की तथा शीतकालीन गद्दी स्थल के लिए प्रस्थान किया। बुधवार को उत्सव डोली अपने प्रथम पड़ाव चोपता  के लिए रवाना हुई, मार्ग पर उत्सव डोली का भव्य स्वागत किया गया। उत्सव डोली सात नवम्बर को भनकुन प्रवास करेगी तथा आठ नवम्बर को शीतकालीन गद्दीस्थल मक्कूमठ पहुंचेगी।
इस अवसर पर बदरीनाथ-केदारनाथ मंदिर  समिति के उपाध्यक्ष अशोक खत्री, मठापति रामप्रसाद मैठाणी, प्रबंधक प्रकाश पुरोहित, बलबीर नेगी, पुजारी विजय भारत मैठाणी, सुबोध मैठाणी आदि मौजूद रहे। चोपता पहुंचने पर मंदिर सुपरवाइजर यदुवीर पुष्पवान डोली की अगवानी करेंगे। मंदिर समिति मीडिया प्रभारी डा.हरीश गौड़ ने बताया है कि इस यात्रा काल में 16 हजार से अधिक श्रद्धालु बाबा तुंगनाथ के दर्शन किये।