पहाड़ में प्रतिभाओं की कमी नहीं है। प्रतिभावान युवा अपने हुनर से रिंगाल से विभिन्न प्रकार के शो पीस बना कर अपनी आजीविका को मजबूत कर रहे हैं। ऐसे ही एक युवा पीपलकोटी क्षेत्र के किरूली निवासी होरी लाल बंडवाल हैं, जो रिंगाल से विभिन्न प्रकार के शो पीस बनाकर अपनी आजीविका चलाने के साथ ही क्षेत्र की महिलाओं को भी इसका प्रशिक्षण देकर महिलाओं की आर्थिकी में भी सुधार लाने का प्रयास कर रहे हैं।
होरी लाल बंडवाल विगत पांच सालों से अपनें पिताजी भजन लाल के साथ मिलकर हस्तशिल्प का कार्य कर रहें हैं। उनके पिताजी पिछले 40 सालों से हस्तशिल्प का कार्य करते आ रहे हैं। होरी पिछले पांच सालों से रिंगाल के परम्परागत उत्पादों के साथ-साथ, नये-नये प्रयोग कर इन्हें मार्डन लुक देकर डिजाइन तैयार कर रहे हैं। उनकी बनाई गयी रिंगाल की लैंप शेड, टोकरी, फूलदान, घोंसला, डस्टबिन, वाटर बोतल बना कर उन्हें पीपलकोटी स्थित ग्रोथ सेंटर के माध्यम से बेच रहे हैं। यही नहीं, वे क्षेत्र की महिलाओं को भी इसका प्रशिक्षण देकर उन्हें भी हस्तशिल्प में दक्ष बना रहे है।
होरी कहते है कि रिंगाल से विभिन्न प्रकार के डिजायन तैयार करने में काफी मेहनत लग जाती है। हालांकि उस हिसाब से मुनाफा कम मिलता हैं। उन्होंने बताया कि वे मध्य प्रदेश के ललितपुर में महिलाओं को दो माह का प्रशिक्षण दे चुके हैं और पीपलकोटी क्षेत्र में लगातार महिलाओं के साथ ही स्थानीय युवाओं को भी इसका प्रशिक्षण देते आ रहे हैं।