सीवर चोक की समस्या गहराई, मुश्किल में लोग

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ऋषिकेश। तीर्थ नगरी ऋषिकेश के विभिन्न क्षेत्रों मे सीवर चोक की समस्या गहरा गई है।लोगों को भारी बदबू के बीच नाक पर रूमाल रखकर चलने को विवश होना पड़ रहा है।शहर मे लचर सफाई व्यवस्था और ट्रैफिक जाम से लोग नहीं जूझ रहे हैं, बल्कि जनसमस्याओं के अम्बार के बीच सीवर लाईन चोक की समस्या ने लोगों की मुश्किलों को बड़ा रखा है।
नगर क्षेत्र में सीवर चोक होने की समस्या से लोगों को निजात नहीं मिल पा रही है। सड़कों पर सीवर के बहते गंदे पानी से राहगीरों व स्थानीय लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।
नगरवासी सीवर चोक होने की समस्या से परेशान है लेकिन समस्या से लोगों को निजात नहीं मिल पा रही है। सड़कों पर सीवर के बहते गंदे पानी से राहगीरों व स्थानीय लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। तीर्थनगरी ऋषिकेश पर्यटन क्षेत्र होने के साथ ही चारधाम यात्रा और गढ़वाल मंडल का मुख्य द्वार भी है। यहां सालभर पर्यटकों की आमद बनी रहती है।यहां फैली अव्यवस्थाओं से पर्यटकों, श्रद्धालुओं और स्थानीय लोगों को आए दिन मुश्किलें झेलनी पड़ती हैं। इन्ही अव्यवस्थाओं के तहत ऋषिकेश नगर क्षेत्र में सीवर का चोक होना भी शामिल हैं। यहां आए दिन मुख्य व संपर्क मार्गों पर सीवर चोक होने की समस्या बनी रहती है और इससे निकलने वाला गंदा पानी सड़कों पर बहता है। लेकिन विभाग इस ओर ध्यान नहीं दे रहा है। विभागीय सूत्रों के मुताबिक ऋषिकेश नगर क्षेत्र में सीवर लाइन पांच दशक पूर्व बिछाई गई थी। इसकी चौड़ाई मात्र तीन से चार मीटर है। जब यह लाइन बिछाई गई थी उस समय शहर की आबादी महज तीस हजार के आसपास थी। लेकिन अब यह आबादी लाखों के करीब पहुंच गई है। इससे इस सीवर लाइन की जगह नई सीवर लाइन बिछाने की जरूरत है। मगर, विभाग द्वारा इस दिशा में कोई कार्रवाई नहीं हो रही है। स्थानीय निवासी मनोज वालिया ने बताया कि उक्त समस्या को लेकर अनेकों मर्तबा विभाग से शिकायत किए जाने के बावजूद स्थाई समाधान न होने से समस्या जस की तस बनी हुई है।
इस संबंध में जल संस्थान के अवर अभियंता हरिश बंसल का कहना है कि बरसात के कारण जगह-जगह सीवर लाइन चोक हो गई है जिनके खोलने के लिए कार्य तीव्र गति से किया जा रहा है। देहरादून तिराहे पर चोक हुई सीवर लाइन को भी शीघ्र खोल दिया जाएगा।