मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने कहा है किउन्होंने कहा कि प्रदेश के निजी मेडिकल संस्थानों को फीस वृद्धि के निर्णय को वापस लेने के निर्देश दिए गए है। किसी भी कालेज को मनमानी नहीं करने देंगे। अगर जरूरत पड़ी तो आने वाले समय में विश्वविद्यालय एक्ट में सुधार किया जायेगा। एनसीईआरटी की पुस्तकें पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध हैं। एनसीईआरटी की पुस्तकों की वजह से सत्र प्रभावित नहीं होगा। सभी छात्रों को पुस्तकें समय पर मिलेंगी। इसके लिए डीबीटी को भी लागू किया गया है।
वहीं प्रदूषण पर बोलते हुए सीएम ने कहा कि साल 2020 तक उत्तराखंड में गंगा को पूरी तरह से प्रदूषण मुक्त कर दिया जाएगा। सरकार पंचेश्वर बाँध परियोजना के विस्थापितों को लेकर पूरी तरह से संवेदनशील है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रदेश के 625 मंदिरों में स्थानीय उत्पादों पर आधारित लोकल प्रसाद बनाने के लिए स्वयं सहायताा समूहों को विकसित किया जा रहा है। पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार की ‘13 न्यू डेस्टिनेशन 13 न्यू डिस्ट्रिक्ट’ की योजना है। 2020 को राज्य स्थापना दिवस तक 05 हजार होम स्टे को विकसित करने का लक्ष्य रखा गया है। किसानों को कृषि एवं हार्टिकल्चर के क्षेत्र में कलस्टर एप्रोच पर खेती करने के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है। आर्गनिक उत्पादों की मांग तेजी से बढ़ रही है, इसके दृष्टिगत आर्गेनिक खेती को बढ़ावा दिया जा रहा है। आर्गेनिक खेती के लिए राज्य सरकार को केन्द्र से पर्याप्त धनराशि प्राप्त हुई है। मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि केदारपुरी का सुनियोजित तरीके से पुनर्निर्माण किया जा रहा है। केदारपुरी को नए स्वरूप में हाईटैक किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि कृषि, पर्यटन, स्वरोजगार, स्वास्थ्य, शिक्षा राज्य सरकार की शीर्ष प्राथमिकताओं में है।