उत्तराखंड सरकार का दावा, कश्मीरी छात्रों से नहीं हुआ दुर्व्यवहार

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पेगासस
File Photo

(देहरादून) पुलवामा हमले के बाद कश्मीरी छात्रों के साथ हिंसा पर सुप्रीम कोर्ट के जवाब-तलब करने पर उत्तराखंड सरकार ने शुक्रवार को सफाई दी। सरकार के प्रवक्ता एवं कैबिनेट मंत्री मदन कौशिक ने कहा है कि एक भी कश्मीरी छात्र के साथ राज्य में दुर्व्यवहार नहीं हुआ है। अदालत को समय पर जवाब दिया जाएगा। इस बीच कुछ लोगों ने दावा किया है कि शहीदों के श्रद्धांजलि कार्यक्रम के दौरान प्रदेश के कुछ हिस्सों में कश्मीरी छात्रों ने देशविरोधी नारे लगाए। पुलिस ने ऐसे तत्वों को गिरफ्तार किया।
16 फरवरी को यह हुआ 
कहा जा रहा है कि रुड़की में 16 फरवरी को कुछ कश्मीरी युवकों ने शहीदों जवानों के खिलाफ टिप्पणी की। इसके बाद हिन्दू संगठनों के कार्यकर्ताओं से इन कश्मीरी युवकों की झड़प हुई। कश्मीरी युवकों को पुलिस कोतवाली गंगनहर ले गई। कश्मीरी युवक यहां किराये पर रहते हैं। वह कश्मीरी शॉल बेचते हैं। बताया गया है कि एक कश्मीरी युवक बाजार में गारमेंट्स की दुकान पर सामान खरीदने गया। वहां उसने पुलवामा के शहीद जवानों के बारे में आपत्तिजनक टिप्पणी की। दुकानदार ने इसका वीडियो बनाकर पुलिस को बुला लिया। पुलिस कश्मीरी युवक को अपने साथ ले गयी। रुड़की पुलिस ने अलग-अलग स्थानों पर 12 कश्मीरी युवकों को हिन्दू संगठनों के कार्यकर्ताओं के साथ हुई झड़प के बाद हिरासत में लिया। देररात सभी को छोड़ दिया गया। मगर शहीदों के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणी करने वाले कश्मीरी युवक के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया।
18 फरवरी को यह हुआ
ऋषिकेश में 18 फरवरी को लोगों ने फेसबुक पर पाकिस्तान जिंदाबाद के नारे लगाने लिखकर शांति भंग करने वाले युवक को दबोचकर पुलिस के हवाले किया। कोतवाली प्रभारी रितेश शाह के अनुसार हाल निवासी शीशम झाडी, सावेज पठान पुत्र नसीरुला ने फेसबुक और व्हाट्सऐप पर पाकिस्तान जिंदाबाद के नारे लगाते हुए पोस्ट डाली थी। 19 फरवरी की सुबह इस युवक ने दोबारा नारे लगाए। यह युवक फिलहाल न्यायिक हिरासत में है।
19 फरवरी को यह हुआ
19 फरवरी को भगवानपुर थाना क्षेत्र के क्वांटम विश्वविद्यालय में कश्मीरी छात्राओं ने पाकिस्तान और आतंकवादियों के समर्थन में नारे लगाए। फेसबुक और इंस्टाग्राम पर सामग्री पोस्ट कर दी। इस पर हिन्दू संगठन के कार्यकर्ताओं एवं अन्य छात्रों ने जमकर हंगामा किया। हंगामा होने पर पुलिस ने बामुश्किल स्थिति संभाली। विश्वविद्यालय प्रबंधन ने दो छात्राओं और पांच छात्रों को निलंबित कर दिया। इन सबको घर भेज दिया गया है। कहा जा रहा है कि इस घटना से दो दिन पहले गर्ल्स हॉस्टल में पाकिस्तान के समर्थन में नारे लगाए गए थे।
शेहला राशिद पर मुकदमा
देहरादून पुलिस ने जेएनयू की छात्रनेता शेहला राशिद के खिलाफ सांप्रदायिक सौहार्द बिगाड़ने के आरोप का मुकदमा दर्ज किया है। शेहला ने ट्वीट किया था कि देहरादून में कुछ कश्मीरी छात्राओं को बंधक बना लिया गया है और पुलिस कुछ नहीं कर रही। इस ट्वीट पर उत्तराखंड पुलिस को स्थिति स्पष्ट करनी पड़ी थी। एसएसपी निवेदिता कुकरेती ने हॉस्टल में पहुंचकर जांच के बाद कहा था कि कश्मीरी छात्राओं को बंधक बनाए जाने बात निराधार थी। वह सभी सुरक्षित हैं।
पाकिस्तानी कैदी बढ़ी सुरक्षा
जयपुर सेंट्रल जेल में पाकिस्तानी कैदी की हत्या के बाद दून जेल में बंद पाकिस्तान के कैदी अमान की सुरक्षा बढ़ा दी गई है। आईजी जेल के आदेश के बाद पाकिस्तान के कैदी को अलग बैरक में रखा गया है। दुष्कर्म के दोष में वह सजा काट रहा है।
कश्मीरी छात्रों को दी जाएगी पूरी सुरक्षा
प्रदेश सरकार के प्रवक्ता एवं कैबिनेट मंत्री मदन कौशिक का कहना है कि कोर्ट को समय पर जवाब दिया जाएगा। उत्तराखंड में कहीं भी कश्मीरी छात्रों के साथ दुर्व्यवहार का कोई मामला किसी थाना या चौकी में दर्ज नहीं है। कुछ कश्मीरी छात्रों ने आपत्तिजनक पोस्ट डाली थी। जो कश्मीरी छात्र उत्तराखंड में रहना चाहते हैं उन्हें पूरी सुरक्षा दी जाएगी। जो कश्मीर जाना चाहते हैं, उनके भेजने का प्रबंध किया जाएगा। सरकार इस मामले में संवेदनशील है।