हरिद्वार, राजाजी राष्ट्रीय पार्क के अफसरों की कोशिशें परवान चढ़ी तो अगले तीन माह में वन्य जीवों का रेस्क्यू सेंटर और वेटनरी हॉस्पिटल बनकर तैयार हो जाएगा। हरिद्वार के समीप टिहरी गढ़वाल के चीला रेंज में बनने वाले इस सेंटर में हाथियों सहित बेजुबान वन्य जीवों का परीक्षण व उपचार होगा।
हाथियों का घर कहे जाने वाले राजाजी राष्ट्रीय पार्क में वेटनरी हॉस्पिटल की आवश्यकता और मांग अर्से से चली आ रही है। इस क्रम में बीते दिसम्बर में पार्क के मुख्य पर्यटक स्थल चीला में रेस्क्यू सेंटर का शिलान्यास हुआ था। फिलहाल इसमें ऑपरेशन थियेटर सहित अन्य आवश्यकताओं का भवन बनकर तैयार हो चुका है। पार्क के निदेशक पीके पात्रा के अनुसार इस भवन में विविध उपकरण व मशीनों के लिए सरकार से 25 लाख रुपये की राशि मांगी गई है। यह अनुदान मिलते ही संभावना है कि आगामी तीन महीनों में अस्पताल सुचारू रूप से संचालित हो सकेगा।
उन्होंने बताया कि हरिद्वार और समीपवर्ती क्षेत्र में प्रायः हाथी व अन्य जानवर राजमार्गों पर दुर्घटना का शिकार होते हैं। इनको उपचार के लिए चीला लाया जाता है। लेकिन समुचित व्यवस्था न होने के कारण उपचार में खासी दिक्कतें आती हैं। फिलहाल यहां केवल प्राथमिक चिकित्सा की व्यवस्था है। अभी डॉक्टर दीप्ति अरोड़ा और डॉ. अदिति शर्मा उपचार का काम देखती हैं लेकिन बड़ी संख्या में अन्य स्टाफ और चिकित्सकों की जरूरत है। इनकी नियुक्ति के लिए सरकार को प्रस्ताव भेजा गया है। आश्वासन के अनुरूप यदि अनुदान राशि मिल गई तो तीन महीने के भीतर रेस्क्यू सेंटर और अस्पताल विधिवत प्रारम्भ हो जाएगा।